प्रेम के भूखे हैं भगवान, छपपनभोग को त्याग प्रेम से खाए थे केले के छिलके

सादाबाद। गांव सलेमपुर में चल रही श्रीमदभागवत कथा में सोमवार को कथा व्यास दुर्गेश पाठक जी महाराज ने विदुर चरित्र के प्रसंग का वर्णन किया। कथा को सुनने के लिए काफी संख्या में श्रद्धालु उमड़ पड़े। कथा का वाचन करते हुए कथा व्यास ने कहा कि अगर सच्चे मन से भगवान की भक्ति की जाए तो भगवान खुद अपने भक्तों से मिलने पहंुच जाते हैं। विदुर प्रसंग में प्रभु श्रीकृष्ण के प्रेम की व्याकुलता के बारे में बताया कि भगवान श्रीकृष्ण विदुर जी की कुटिया में भोजन करने गए, वहां केले के छिलकों का भोग स्वीकारा। इससे पहले वह दुर्योधन के महल में छपपनभोग त्याग कर आए थे। भगवान तो प्रेम के भूखे होते हैं और जब विदुर व विदुरानी ने भगवान को प्रेम से भोजन करवाया तो उन्होने केले के छिलके भी प्रेम से खा लिए। इस मौके पर जिला पंचायत अध्यक्ष सीमा उपाध्याय द्वारा कथा व्यास का सम्मान किया गया। मौके पर सुनील कुमार, अनिल कुमार गौतम, रजनी गौतम, जयवीर सिंह, मुनेश देवी, विनोद गौतम, लवली ठाकुर, वेदराम मास्टर, धर्मपाल सिंह, रवि प्रधान, रिंकू सिंह, अरूण शर्मा आदि थे।

error: Content is protected !!