विधिक साक्षरता एवँ जागरूकता शिविर में मौलिक अधिकारों की दी जानकारी

हाथरस । आदर्श विद्या निकेतन इण्टर कालेज, नवीपुर हाथरस जिला हाथरस में एक विधिक साक्षरता शिविर का आयोजन पोक्सो अध्निियम, लीगल सर्विस मोबाईल एप व मौलिक अधिकार एवं सरकार द्वारा जारी निःशुल्क हेल्प लाईन नम्बरों पर श्रीमती चेतना सिंह, सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, हाथरस की अध्यक्षता में किया गया, जिसमें श्रीमती प्राचार्या श्रीमती प्रीतिका शर्मा, आदर्श विद्या निकेतन इण्टर कालेज एवं वरिष्ठ अधिवक्ता श्रीमती वीना शर्मा व हेमन्त राज सिंह व मनीष कौशिक सदस्य स्थायी लोक अदालत, हाथरस व प्रवक्ता नरेन्द्रपाल, डा0 विकास कौशिक, रमाशंकर, लक्ष्मण सिंह, प्रदीप, श्याम नरायण, जगदीश प्रसाद, रतन प्रकाश उपाध्याय, अनुराग तिवारी आदि की उपस्थिति में शिविर में सचिव द्वारा उपस्थित छात्र एवं छात्राओं तथा जनता को पोक्सों एक्ट के सम्बन्ध में विस्तार से जानकारी देते हुये कहा है कि ये विशेष कानून सरकार ने साल 2012 में बनाया था। इस कानून के जरिए नाबालिग बच्चों के साथ होने वाले यौन अपराध और छेड़छाड के मामले में कार्यवाही की जाती है। यह एक्ट बच्चों के सेक्सुअल हैरेसमंेट, सेक्सुअल असॉल्ट और पोर्नोग्राफी जैसे गंभीर अपराधों से सुरक्षा प्रदान करता है। वर्ष 2012 में बनाए गए इस काननू के तहत अलग-अलग अपराध के लिए अलग-अलग सजा तय की गई है। यदि अभियुुक्त एक किशोर (टीनएज) है, तो उसके ऊपर किशोर न्यायालय अधिनियम में केस चलाया जाता है। इस एक्ट में ये भी नियम है कि यदि कोई व्यक्ति यह जानता है कि किसी बच्चे के साथ गलत कृत्य हुआ तो उसे इसकी रिपोर्ट नजदीकी थाने में देनी चाहिए, यदि वो ऐसा नहीं करता है तो उसे 06 महीने तक जेल हो सकती है।
इसके अतिरिक्त उन्होंने शिक्षा का अधिकार व मौलिक अधिकारों के सम्बन्ध में विस्तार से जानकारी देते हुये बताया कि शिक्षा के अधिकार को मौलिक अधिकार बनाया गया। किसी भी कार्य को करने के लिये जानकारी होना आवश्यक है तथा योजनाओं का लाभ उठा सकते है। उन्होंने कहा कि सरकार द्वारा 06 वर्ष से 14 वर्ष तक के बच्चों को निःशुल्क शिक्षा का अधिकार दिया गया है। सचिव ने कहा कि पढ़ने के लिये कोई उम्र निर्धारित नही होती है। उन्होने बताया कि 18 वर्ष से कम उम्र के बच्चों द्वारा यदि कोई अपराध किया जाता है तो किशोर न्याय अधिनियम में उसे बाल अपचारी माना जाता है। इसके अतिरिक्त उन्होने जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के उद्देश्यों पर भी प्रकाश डालते हुये बताया कि जिला प्राधिकरण का उद्देश्य है कि कोई भी व्यक्ति पैसे के अभाव में न्याय पाने से वंचित न रह जाये। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण में एक्ट में वर्णित श्रेणी के व्यक्तियों द्वारा विधिक सहायता के सम्बन्ध में प्रार्थना पत्र देने पर प्राधिकरण द्वारा जॉच उपरान्त निःशुल्क अधिवक्ता से परामर्श हेतु आदेश दिया जाता है। उन्होंने राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण, नई दिल्ली द्वारा जारी लीगल सर्विस मोबाईल एप के बारे में जानकारी देते हुये बताया कि इस एप के माध्यम से कोई भी व्यक्ति विधिक सहायता, मीडियेशन एवं पीड़ित क्षतिपूर्ति योजना के लिए निःशुल्क ऑनलाइन आवेदन कर सकता है। इसके अतिरिक्त उन्होंने सरकार द्वारा जारी निःशुल्क हेल्पलाइन नम्बर 101 फायर स्टेशन, 102/108 एम्बुलेंस, 112 पुलिस सहायता, 1090 बुमेन हेल्पलाइन, 1098 चाईल्ड हेल्पलाइन आदि के बारे में विस्तार पूर्वक जानकारी दी।
श्रीमती प्रीतिका शर्मा, प्राचार्या, आदर्श विद्या निकेतन ने शिविर में उपस्थित सभी महानुभावों का आभार व्यक्त करते हुये छात्राओं को महिला हैल्पलाईन के सम्बन्ध में विस्तार से जानकारी दी। उन्होंने कहा कि आपको बोलना होगा आपके साथ कोई घटना घटती है तो उसकी सूचना तुरन्त महिला हैल्पलाईन पर दें, उसमें आपका नाम गोपनीय रखा जायेगा।
श्रीमती वीना शर्मा, द्वारा अपने वक्तव्य में कहा कि आज समाज में जो बच्चीयों के प्रति जो कुप्रथा है उसे सुधारना होगा बच्चियों को पढाना होगा तभी विकास सम्भव है। हम सभी को अपनी सोच बदलनी होगी। समाज में व्याप्त लिंग भेद की परम्परा को समाप्त कराना होगा। अपने आस पडोस की माता बहनों को भी इसके प्रति जागरूक करना होगा।
विधिक साक्षरता शिविर का संचालन श्री विनीत कुमार शर्मा, द्वारा किया गया तथा इसके अतिरिक्त उन्होने स्कूल मंे होने वाली रैगिग के सम्बन्ध में विस्तार से जानकारी दी। इस अवसर पर काफी संख्या में छात्र/छात्रायें एवं जनता उपस्थित रही। छात्र/छात्राओं ने अपनी समस्यायें बताई, जिनके सम्बन्ध में सचिव, जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा परामर्श दिया गया।

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