बेटी-दामाद से पीड़ित बुजुर्ग दंपत्ति की सुरक्षा पर हाईकोर्ट की मुहर

मेंटिनेंस एंड वेल्फेयर ऑफ पैरेंट्स एंड सीनियर सिटिजन एक्ट, 2007 के तहत की कार्रवाई
इलाहाबाद/हाथरस। बच्चों से पीड़ित पैरेंट्स को इलाहाबाद हाईकोर्ट ने एक बड़ी राहत दी है। न्यायालय ने पुलिस को उनकी सुरक्षा के आदेश भी दिये है। हाईकोर्ट के अधिवक्ता राहुल कुमार शर्मा जो हाथरस के कस्बा मुरसान निवासी हैं, ने बताया है कि हाईकोर्ट ने हाल ही में इस मामले की सुनवाई करते हुए पुलिस को बुजुर्ग दम्पती को सुरक्षा मुहैया कराने के आदेश दिए हैं।
अधिवक्ता श्री शर्मा ने बताया है कि कोर्ट ने मामले की सुनवाई में कहा कि, मेंटिनेंस एंड वेल्फेयर ऑफ पैरेंट्स एंड सीनियर सिटिजन एक्ट, 2007 के तहत बने उत्तर प्रदेश के सीनियर सिटिजन रूल्स-2014 के अनुसार, प्रशासन और जिला मजिस्ट्रेट का उत्तरदायित्व है कि वे जिले के वरिष्ठ नागरिकों की रक्षा करें।
आइये जानते हैं क्या है मामला
हाईकोर्ट अधिवक्ता राहुल कुमार शर्मा के मुताबिक यह मामला, वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ. कृष्णपाल सिंह और उनकी पत्नी (याचिकाकर्ता) का था। दम्पती ने आरोप लगाया कि उनकी विवाहित बेटियां एवं दोनों दामाद घर व सम्पत्ति पर कब्जा करना चाहते हैं। रोज के हस्तक्षेप से सामाजिक जीवन भी प्रभावित हो रहा है। उन्होंने अपनी और संपत्ति की सुरक्षा के लिए लखनऊ कोर्ट में याचिका लगाई थी। जब बुजुर्ग दंपत्ति को कोई राहत नहीं मिली तो कोई कार्रवाई नहीं होने पर हाइकोर्ट गए। तब हाइकोर्ट ने सीनियर सिटिजन एक्ट के तहत उन्हें सुरक्षा देने का आदेश दिया है।
द्वारा अधिवक्ता राहुल कुमार शर्मा, अधिवक्ता उच्च न्यायालय प्रयागराज

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